s
By: RF competition   Copy   Share  (435) 

आदिकाल की विशेषताएँ | प्रमुख कवि एवं उनकी रचनाएँ

31997

आदिकाल

आदिकाल को वीरगाथाकाल के नाम से भी जाना जाता है। हिन्दी साहित्य के इतिहास का यह काल सन् 993 ई. से 1318 ई. (संवत् 1050 से 1375) तक जारी रहा।

आदिकाल की विशेषताएँ

आदिकाल की प्रमुख विशेषताएँ निम्नलिखित हैं–
1. वीर रस की प्रधानता।
2. युद्धों का सजीव चित्रण।
3. ऐतिहासिक घटनाओं का चित्रण।
4. श्रृंगार एवं अन्य रसों का समावेश।
5. प्राकृत, अपभ्रंश, डिंगल एवं पिंगल भाषा का प्रयोग।
6. आश्रयदाताओं की प्रशंसा एवं उनका गान।

हिन्दी के इन 👇 प्रकरणों को भी पढ़िए।
1. अर्थ के आधार पर वाक्यों के प्रकार
2. रीतिकाल की विशेषताएँ और धाराएँ | प्रमुख कवि एवं उनकी रचनाएँ
3. भक्तिकाल | सगुण धारा की रामभक्ति और कृष्णभक्ति शाखा || निर्गुण धारा की ज्ञानाश्रयी और प्रेमाश्रयी शाखा

आदिकाल के कवि एवं उनकी रचनाएँ

आदिकाल के प्रमुख कवि एवं उनकी रचनाएँ निम्नलिखित हैं–
1. चंदवरदायी– पृथ्वीराज रासो
2. नरपति नाल्ह– वीसलदेव रासो
3. जगनिक– परमाल रासो 'आल्हाखण्ड'
4. शारंगधर– हम्मीर रासो
5. दलपतिविजय– खुमान रासो।

हिन्दी के इन 👇 प्रकरणों को भी पढ़िए।।
1. छायावाद– विशेषताएँ एवं प्रमुख कवि
2. रहस्यवाद (विशेषताएँ) तथा छायावाद व रहस्यवाद में अंतर
3. प्रगतिवाद– विशेषताएँ एवं प्रमुख कवि
4. प्रयोगवाद– विशेषताएँ एवं महत्वपूर्ण कवि
5. नई कविता– विशेषताएँ एवं प्रमुख कवि



I hope the above information will be useful and important.
(आशा है, उपरोक्त जानकारी उपयोगी एवं महत्वपूर्ण होगी।)
Thank you.
R F Temre
rfcompetiton.com

Comments

POST YOUR COMMENT

Categories

Subcribe